हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय में झड़प मामले में एबीवीपी का प्रदर्शन, पुलिस पर एकतरफा कार्रवाई का आरोप
शिमला, 15 मार्च (हि.स.)। हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय में हाल ही में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) और स्टूडेंट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया (एसएफआई) के कार्यकर्ताओं के बीच हुई हिंसक झड़प को लेकर विवाद गहराता जा रहा है। इस मामले में एबीवीपी ने पुलिस प्रशासन पर एकतरफा कार्रवाई करने का आरोप लगाया है। इसी को लेकर एबीवीपी कार्यकर्ताओं ने शिमला में पुलिस अधीक्षक कार्यालय के बाहर जोरदार प्रदर्शन किया।
एबीवीपी का आरोप है कि पुलिस प्रशासन इस पूरे मामले में पक्षपातपूर्ण रवैया अपना रहा है। परिषद का कहना है कि इस हिंसक घटना के बाद अब तक केवल एबीवीपी के छात्रों को ही गिरफ्तार किया गया है, जबकि एसएफआई से जुड़े लोगों पर कोई कार्रवाई नहीं हुई है। एबीवीपी ने एसएफआई कार्यकर्ताओं पर विश्वविद्यालय परिसर का माहौल बिगाड़ने और जानबूझकर तनाव पैदा करने का भी आरोप लगाया है।
एबीवीपी की प्रदेश मंत्री नैंसी अटल ने कहा कि हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय में हुई झड़प के बाद पुलिस प्रशासन ने निष्पक्ष कार्रवाई नहीं की है। उन्होंने आरोप लगाया कि एसएफआई से जुड़े लोग अभी भी खुलेआम कैंपस में घूम रहे हैं और एबीवीपी की छात्राओं पर अभद्र टिप्पणियां कर रहे हैं, लेकिन प्रशासन उन पर कोई कार्रवाई नहीं कर रहा।
नैंसी अटल ने कहा कि इस मामले में एबीवीपी के 6-7 कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार किया गया है, जबकि एसएफआई के सदस्यों को पूरी तरह नजरअंदाज किया जा रहा है। यह प्रशासन का पक्षपातपूर्ण रवैया दर्शाता है। हम मांग करते हैं कि पूरे मामले की निष्पक्ष जांच हो और एसएफआई से जुड़े लोगों पर भी कड़ी कार्रवाई की जाए।
एबीवीपी के कार्यकर्ताओं ने चेतावनी दी कि यदि प्रशासन ने जल्द ही निष्पक्ष जांच सुनिश्चित नहीं की तो वे बड़े स्तर पर आंदोलन करने के लिए मजबूर होंगे।
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